Bridge construction work intensified in Phulaut : प्राप्त जानकारी के अनुसार कोसी नदी पर मधेपुरा के फुलौत गांव में 6.93 किमी लंबे पुल का निर्माण कार्य तेज गति से चल रहा है. इस पुल के निर्माण कार्य पूर्ण होने के बाद 10 वर्षों तक संवेदक (AFCONS) द्वारा पुल की देखरेख की जाएगी. निर्माण कार्य की निगरानी एनएच डिविजन खगड़िया व मधेपुरा डिवीज़न द्वारा किया जा रहा है.
बिहार राज्य में आधारभूत संरचना के विकास को लेकर कई सारे निर्माण कार्य लगातार किए जा रहे हैं. सबसे बड़ी गंगा नदी पर 14 पुलों के निर्माण से लेकर राज्यभर में 4 एक्सप्रेसवे के साथ ही फोर लेन की कई सड़कों का निर्माण के साथ-साथ वर्तमान नेशनल हाइवे के चौड़ीकरण और विकास जैसे कार्य जारी हैं. इसी विकास और निर्माण के क्रम में कोसी क्षेत्र और पूर्व बिहार के लोगों के लिए बहुत बड़ी खबर यह है कि वीरपुर-बिहपुर एनएच-131 (पुराना नाम NH-106) पर नदी पर पुल निर्माण का कार्य तीव्र गति से किया जा रहा है.
इस पुरे परियोजना के जून 2024 तक पूरा होने की उम्मीद है. इस बड़े और बेहतरीन प्रोजेक्ट के तहत मधेपुरा जिले के फुलौत से भागलपुर के बिहपुर तक बनने वाले NH-131 के मिसिंग लिंक का निर्माण भी आरंभ हो चूका है. कोसी नदी पर इस पुल के बन जाने से बिहार के कई जिलों को एक साथ फायदा पहुंचने वाला है.
कोसी नदी पर फुलौत में बन रहे ब्रिज का वीडियो यहाँ पर देखिये:
Phulaut-Bihpur Kosi Bridge Latest Updates :
मधेपुरा के फुलौत में NH-131 पर कोसी नदी पर फोरलेन पुल निर्माण कार्य तीव्र गति से चल रहा है. इस पुल के निर्माण कार्य को 36 महीनों में ही पूरा करने की समय सीमा तय है. इसका निर्माण कार्य पूरा होने पर 6 जून 2024 को उदाकिशुनगंज से बिहपुर को जोड़ने के लिए करीब 29 किमी लंबे सड़क पर आवागमन भी शुरू हो जाएगा.
NHAI से मिली जानकारी के अनुसार इस प्रोजेक्ट के निर्माण पर 1478.4 करोड़ रुपये खर्च किया जाएगा. इस प्रोजेक्ट की कुल लंबाई 28.91 किमी होगी. साथ ही इस प्रोजेक्ट के अंदर कोसी नदी पर 6.93 किमी लंबा पुल भी बन रहा है. प्रोजेक्ट पूरा होने के बाद मधेपुरा, सहरसा, सुपौल, भागलपुर, खगड़िया, बेगूसराय और कटिहार जैसे जिलों को इसका सीधा फायदा लाभ मिलने जा रहा है. साथ ही नेपाल बॉर्डर से (भीमनगर) से भागलपुर भी सीधे जुड़ जाएगा।
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि साल 2020 में 21 सितंबर को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा इस मिसिंग लिंक निर्माण की आधारशिला वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से किया था. विश्व बैंक द्वारा 136 किमी लंबे वीरपुर-बिहपुर एनएच-131 के निर्माण का कुल खर्चा साल 2002 में उठाया था. हालांकि, वीरपुर से फुलौत तक सड़क का निर्माण कराने के बाद विश्व बैंक ने इस प्रोजेक्ट से अपना हाथ खींच लिया था. इस कारण से यह प्रोजेक्ट कुछ समय तक रुक गया था.